उत्तराखण्ड ज़रा हटके रुद्रपुर

एपीजे सभागार में आयोजित हुई, आपदा प्रबंधन एवं मानसून सत्र की तैयारियों की समीक्षा बैठक…..

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रुद्रपुर- मा. उपाध्यक्ष ने कहा कि आपदा प्रबंधन एवं न्यूनीकरण अति महत्वपूर्ण है इसलिए सभी कार्ययोजना बनाकर समन्वय बनाते हुए कार्य करें। उन्होंने आपदा बाढ दौरान गर्भवती महिलाओं दिव्यांगों की संवेदनशील होकर सहायता करने के साथ ही सडक, विद्युत, पेयजल, खाद्यान्न, स्वास्थ्य व आपदा राहत बचाव आदि संबधित कार्य त्वरित गति से करने के निर्देश दिए। उन्होंने काशीपुर बलिया नाला, भाला नदी, द्रोण सागर में कई स्थानों पर टूट-फूट व सफाई कार्यों को शीघ्र कराने के निर्देश नगर आयुक्त काशीपुर को दिए।

 

उन्होंने कहा कि सभी अधिकारी, कर्मचारी व्यवहार में मधुरता रखें तथा सूचनाओं का त्वरित आदान प्रदान करें, रैन बसेरों में पर्याप्त व्यवस्थाएं सुनिश्चित की जाएं ताकि आपदा बाढ दौरान प्रभावितों को तुरंत विस्थापित किया जा सके व उन्हे किसी प्रकार की परेशानी का सामना न करना पडे़।  उन्होंने जनपद के आपदा से निपटने की तैयारियों/कार्यों पर प्रसन्नता व्यक्त करते हुए संवेदनशील होकर समन्वय से कार्य करने के निर्देश दिए। बैठक को मा0 मुख्यमंत्री जी के वीडियो संदेश से प्रारंभ किया गया। मा0 मुख्यमंत्री ने अपने वीडियो संदेश में कहा कि पूर्व आपदाओं के देखते हुए आपदा से पूर्व सभी तैयारियॉं कर ली जाए ताकि जन व धन हानि अति न्यून हो।

 

उन्होंने कहा कि आपदा को रोका नहीं जा सकता किन्तु राहत व बचाव कार्यों से हानियों को कम किया जा सकता है। जिला व तहसील स्तर पर 24×7 कंट्रोल रूम संचालित किये जाये व कार्मिकों की 24×7 तैनाती कि जाये साथ ही जनता से संवाद व समन्वय करने के भी निर्देश दिये। उन्होंने कहा मानसून अवधि 15 जून से 30 सितम्बर तक भारी वर्षा हो सकती है अतः आपदा न्यूनीकरण व जान-माल की सुरक्षा हेतु उपकरण खरीदे जाये व पूर्व उपलब्ध उपकरणों का पूर्ण उपयोग किया जाये। उन्होंने गर्भवती महिलाओं का डाटा बेस तैयार करने व जीवनरक्षक दवाइयों की पर्याप्त उपलब्धता रखने के निर्देश दिये साथ ही पेयजल/विद्युत व्यवस्था सुचारू रखने के निर्देश दिये। उन्होंने निर्देश दिये कि वर्षाकाल में लोहे के पुराने पुलों का सेफ्टी ऑडिट करें ताकि कोई अप्रिय घटना घटित न हो।

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मुख्यमंत्री ने कहा वर्षाकाल में बचाव हेतु आम जनता को जागरूक किया जाये, पीडित व्यक्तियों तक त्वरित राहत पहुंचायी जाए तथा बाढ़ पीड़ितों हेतु राहत शिविरों में सभी सुविधाएं सुनिश्चित की जाएं। उन्होंने कहा कि ग्रामीण व शहरी क्षेत्रों में नदी नालियों की सफाई सुनिश्चित कर ली जाए। मा. मुख्यमंत्री ने सभी अधिकारियों को 24 घंटे फोन खुले रखने के निर्देश दिए साथ ही कहा कि सभी आपदा न्यूनीकरण व आपदा प्रबंधन कार्यों को आपसी समन्वय द्वारा किया जाए, अव्यवस्था व लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी। उन्होंने कहा कि संकल्प लें कि हम सभी मिलकर प्रदेश को आपदाओं से सुरक्षित रखेंगे।

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समीक्षा बैठक में जिलाधिकारी उदयराज सिंह ने मा. उपाध्यक्ष को अवगत कराया कि आपदा प्रबंधन की पूर्व तैयारियां कर ली गई हैं, सभी संसाधनों का आंकलन किया गया है तथा सभी अधिकारियों के फोन नं. अद्यतन हैं। उन्होंने बताया कि जनपद में 10 नदियां हैं जिनका जल प्रवाह स्तर अभी न्यून है तथा जलाशयों में भी अलर्ट से अभी 20 फिट नीचे है। जिलाधिकारी ने बताया कि जनपद मुख्यालय व सभी तहसीलों में कंट्रोल रूम 24×7 संचालित हैं। बताया कि जनपद में विगत वर्षों में आपदा की दृष्टि से 52 गांव अतिसंवेदनशील व 70 गांव संवेदनशील चिन्हित किये गये हैं, नियंत्रण हेतु 29 बाढ़ चौकियां व 08 बाढ़ नियंत्रण केन्द्र संचालित हैं

 

तथा 101 आश्रय स्थल चिन्हित किए गए हैं जिनमें 51 हजार लोगों के ठहरने की व्यवस्था है। जिलाधिकारी ने मा. उपाध्यक्ष को बताया कि जनपद स्तर पर न्यूनीकरण निधि में बहुत कम धनराशि आबंटित की जाती है जो जनपद को आपदा से बचाव कार्यों हेतु पर्याप्त नहीं हो पाती। न्यूनीकरण निधि में 05 करोड रूपये की धनराशि आबंटन की जाने की मांग की साथ ही जनपद स्तरीय आपदा प्रबंधन प्राधिकरण/ आपातकालीन परिचालन केन्द्र का सूदृढीकरण तथा तहसील स्तर पर भी आपातकालीन परिचालन केंद्रोे की स्थापना करने का सुझाव दिया ।

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उन्होंने सहायता राशि प्रदान करने हेतु मानकों में सरलीकरण किये जाने जनपद के अन्तर्गत निचले स्थानों पर पक्के हैलीपैडों का निर्माण करने  व जीर्ण़-क्षीर्ण विद्यालयों के प्रस्तावों पर त्वरित रूप् से धनराशि आवंटित करने का सुझाव दिया । उन्होने सभी अधिकारियों को मा. उपाध्यक्ष द्वारा दिए गए निर्देशों व आपदा गाइडलाइन के अनुसार अनुपालन करते हुए कार्य करने के निर्देश दिए। बैठक में मुख्य विकास अधिकारी मनीष कुमार ने पीपीटी के माध्यम आपदा प्रबंधन एवं न्यूनीकरण हेतु जनपद की तैयारियों की विस्तृत जानकारियां दी। इसके उपरांत मा. उपाध्यक्ष व अन्य जनप्रतिनिधि, जिलाधिकारी द्वारा कलेक्ट्रेट परिसर में जल संरक्षण अभियान के तहत पौधारोपण भी किया गया

 

बैठक में राज्य दर्जा मंत्री उत्तम दत्ता, जिलाध्यक्ष भाजपा कमल जिंदल, गुंजन सुखीजा, मुख्य विकास अधिकारी मनीष कुमार, अपर जिलाधिकारी अशोक कुमार जोशी, प्रभागीय वनाधिकारी यूसी तिवारी, मुख्य चिकित्साधिकारी मनोज कुमार शर्मा, उपजिलाधिकारी मनीष बिष्ट, गौरव पांडे, नगर आयुक्त काशीपुर  विवेक राय, उप नगर आयुक्त रूद्रपुर शिप्रा जोशी, मुख्य कृषि अधिकारी एके वर्मा, परियोजना निदेशक अजय सिंह, एपीडी संगीता आर्या, मुख्य उद्यान अधिकारी भावना जोशी, जिला शिक्षा अधिकारी डीएस राजपूत, अधिशासी अभियंता सिंचाई पीसी पांडे, पेयजल निगम ज्योति पालनी, विद्युत विजय सकारिया, लोनिवि ओपी सिंह, डीडीएमओ उमाशंकर तिवारी, सहित अन्य संबंधित अधिकारी उपस्थित थे।

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