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इन्टरार्क मजदूर संगठन के अध्यक्ष को मिली गर्दन काटकर जान से मारने की धमकी…

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इन्टरार्क मजदूर संगठन ऊधम सिंह नगर के अध्यक्ष दलजीत सिंह को मिली गर्दन काटकर जान से मारने की धमकी।

इससे मजदूरों में पनप रहा आक्रोश, दलजीत सिंह व अन्य यूनियन सदस्यों को भी मिली धमकी।

रूद्रपुर बगवाड़ा पुलिस चौकी रुद्रपुर जिला उधम सिंह नगर में दी गई तहरीर धमकी देने वाले के साथ ही इन्टरार्क कंपनी को ठहराया जिम्मेदार ,

कार्यवाही करने की मांग अन्यथा आंदोलन तेज करने की दी धमकी ।

इन्टरार्क मजदूर संगठन जान से मारने की धमकी से मजदूरों में पनप रहा आक्रोश…

रुद्रपुर-ज्ञात हो कि कल 5 अक्टूबर 2022 को रात करीब 09:13 बजे इन्टरार्क मजदूर संगठन ऊधम सिंह नगर के अध्यक्ष दलजीत सिंह के पास एक अज्ञात फोन नंबर-9027970228 से धमकी भरा फोन आया जिसमें गला काट देने और जान से मारने की खुली धमकी व चेतावनी दी जाती है। जिस समय प्रार्थी के फोन पर धमकी मिली उस समय प्रार्थी रॉयल रेजीडेंसी कालोनी में घर पर ही था।

 

साथ ही भारतीय किसान यूनियन के राष्ट्रीय प्रवक्ता चौधरी राकेश टिकैत जी के लिए अपशब्दों का प्रयोग किया गया। और उक्त असामाजिक व अपराधी ब्यक्ति ने कहा कि तू किसान नेता राकेश टिकैत को बुलाकर लाया और धमकी दिलाई कि उत्तर प्रदेश से उत्तराखंड को जाने वाले सभी 6 रास्तों को किसान जाम कर देंगे तो उत्तराखंड सरकार 24 घण्टे भी नहीं झेल पाएगी। फिर वह अपराधी ब्यक्ति बोला कि ऐसा होने पर हम इंटरार्क कंपनी के लिए चाइना की ओर से रास्ता खुलवा देंगे।

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उक्त ब्यक्ति की चाइना से रास्ता खुलवा देने का दावा करने के दुःसाहस से समझा जा सकता है कि उक्त ब्यक्ति की पहुंच व नेटवर्क कहाँ तक है ? यह भारत देश की सुरक्षा के लिए भी खतरा है । इसलिए पुलिस प्रशासन एवं उत्तराखंड सरकार को ऐसे संवेदनशील मामले को ततपरता से लेना चाहिए। और कार्यवाही करनी चाहिए। प्रथम दृष्टया उक्त अपराधी किस्म के ब्यक्ति के द्वारा इंटरार्क कंपनी का नाम लेकर कंपनी के लिए चाइना से रास्ता खुलवा देने और वरिष्ठ किसान नेता चौधरी राकेश टिकैत जी एवं 4 अक्टूबर 2022 की मजदूर-किसान महापंचायत के खिलाफ अपशब्द कहने से स्पष्ट है कि उक्त ब्यक्ति की इंटरार्क कंपनी मालिक अरविंद नंदा ,कारपोरेट के उच्च अधिकारी महेश वर्मा ,प्लांट हेड मनोज कुमार रोहिल्ला एवं HR वी बी श्रीधर साथ में सांठगांठ है।

 

और उक्त लोगों के इशारों पर ही दलजीत सिंह की गर्दन काटकर जान से मारने की धमकी दी गई है। तांकि दलजीत सिंह डरकर आंदोलन से दूर हो जाएं और आंदोलन कमजोर हो जाये। आज इसके विरोध में इंटरार्क यूनियन के पदाधिकारियों की बैठक हुई। और गर्दन काटकर जान से मार देने की घटना को अत्यंतव विभत्स घटना और तालिबानी किस्म की घटिया और हिंसक किस्म मानसिकता है।

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जो कि भारत देश एवं समाज की सुरक्षा के लिए अत्यंत घातक एवं गंभीर खतरा है। इसलिए पुलिस व प्रशासन को तत्काल इस पर कार्यवाही करनी चाहिए। इसी तरह से यूनियन के अन्य सदस्यों को भी धमकी भरे फोन आये हैं। उक्त धमकी भरे फोन के द्वारा गर्दन काटकर जान से मार देने की धमकियों को देने से स्पष्ट है कि इंटरार्क मजदूरों के आंदोलन को तोड़ने और कमजोर करने को विरोधी लोग किस हद तक नीचता पर उतर आये हैं। किंतु हम इससे डरने वाले नहीं हैं।

 

बल्कि हमारे इरादे और अधिक मजबूत हुए हैं। ऐतिहासिक किसान आंदोलन ने हमें सिखाया है कि आंदोलन में कामयाबी हाशिल करने को हर किस्म से त्याग बलिदान करने को ततपर रहना चाहिए और जरूरत होने और इसके लिये तैयार रहना चाहिए। आज जब मजदूर एवं किसान यूनियनें ,संयुक्त किसान मोर्चा ,महिलाएं ,बच्चे और पूरा समाज हमारे साथ मजबूती से खड़ा है तो ऐसे में हम इन बन्दर भभकियों से डरने वाले नहीं हैं।

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पिछले 4 वर्षों से शोषण और उत्पीड़न के खिलाफ चल रहे आंदोलन के नेतृत्व कर्ता इन्टरार्क मजदूर संगठन के अध्यक्ष को जान से मारने की धमकी की खबर से पूरे उधम सिंह नगर में हड़कंप मच गया न्याय के लिए अपनी आवाज बुलंद कर रहे लोगों में दहशत का माहौल पैदा किया जा रहा है जो कि बिल्कुल भी बर्दाश्त करने के काबिल नहीं है। धमकी वाले मामले की लिखित तहरीर रुद्रपुर उधम सिंह नगर पुलिस को दे दी गई है

 

जिसमें इन्टरार्क कंपनी मालिक, अरविंद नंदा, कारपोरेट के अधिकारी महेश वर्मा, पंतनगर एवं किच्छा प्लांट हेड मनोज रोहिल्ला, एचआर हेड वी.बी. श्रीधर, पर संदेह जताते हुए शिकायत की गई है और किसी भी तरह की दुर्घटना होने पर इन लोगों को पूर्ण रूप से जिम्मेदार माना जाए साथ ही पुलिस प्रशासन से ऐसी घटना पर तुरंत प्रभावी कार्रवाई करने की मांग की गई है

 

आंदोलन करने वाले लोगों की आवाज को बंद करने के लिए जो भी इस तरह के रास्ते अपनायेगा उसके खिलाफ कठोर कार्रवाई होनी चाहिए अगर पुलिस समय रहते इन पर कार्यवाही नहीं करेगी तो निश्चय ही एक बड़ा आंदोलन खड़ा हो जाएगा जिसकी जिम्मेदारी उधम सिंह नगर पुलिस प्रशासन एवं उत्तराखंड शासन की होगी।

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